जामिया मिल्लिया पहुंचे सीएए समर्थक आधा घंटे आमने-सामने नारेबाजी

 


जामिया मिल्लिया पहुंचे सीएए समर्थक आधा घंटे आमने-सामने नारेबाजी


जामिया मिल्लिया इस्लामिया के बाहर सीएए के विरोध में धरने पर बैठे छात्रों के सामने मंगलवार को कानन के समर्थकों की 50 से ज्यादा युवाओं की टोली पहुंच गई। बेरीकेड पर चल रही पुलिस की चेकिंग भी इन युवाओं को वहां तक पहुंचने से नहीं रोक पाई। इनका इरादा धरने पर बैठे छात्रों को उठाने का था। जामिया के बाहर छात्रों से इन युवाओं का आमना-सामना हुआ तो नौबत टकराव तक पहुंच गई। दोनों गुट करीब 15 मिनट तक एक-दूसरे के खिलाफ नारेबाजी करते रहे।


 

हंगामे की सूचना फैली तो जामिया के छात्रों के साथ शाहीन बाग से भी लोग वहां पहुंचने लगे। भीड़ बढ़ती हुई देखकर पुलिस सीएए समर्थक युवाओं को धकेलकर सुखदेव नगर की ओर ले गई। पुलिस के मुताबिक, युवाओं की यह टीली हरियाणा के सोनीपत से पहुंची थी। इन्हें कालकाजी थाने ले जाया गया है।

चश्मदीदों ने बताया कि सुखदेव नगर की ओर से हाथों में तिरंगा लेकर आ रहे इन युवाओं के साथ इंस्पेक्टर स्तर का एक अधिकारी मौजूद था। इन युवाओं को बेरिकेड के पास रोकने के बजाय पुलिस ने इन्हें प्रदर्शन स्थल तक पहुंचने दिया। यहां पांच पुलिसवालों ने इन युवाओं को रोक लिया। ये युवा जामिया के प्रदर्शनकारियों को इंगित कर ‘देश के गद्दारों को गोली मारो...को’ का नारा लगाने लगे। यह देखकर दूसरी ओर से धरने पर बैठे छात्र भी पहुंच गए। दोनों ओर के युवा आमने-सामने आए तो एक-दूसरे के खिलाफ नारेबाजी करने लगे।

जामिया के प्रदर्शनकारी छात्रों की संख्या पांच सौ से ज्यादा पहुंच गई। तनाव बढ़ता देख जामिया के शिक्षक, चीफ प्रोक्टर और अन्य पदाधिकारी छात्रों को रोकने पहुंच गए। उधर, छात्रों की भीड़ बढ़ती देखकर पुलिस ने मौके पर केंद्रीय सुरक्षा बल को बुला लिया। अफरा-तफरी के बीच सोनीपत के युवाओं की टोली को जामिया मेट्रो स्टेशन के पास ले जाया गया। काफी देर हंगामे के बाद युवाओं को बस में बैठाकर कालकाजी थाने ले जाया गया। वहां से कुछ देर बाद सभी को छोड़ दिया गया।

पुलिस पर हंगामा कराने का आरोप
जामिया के शिक्षकों ने आरोप लगाया है कि शांतिपूर्वक धरना दे रहे छात्रों को चुनौती देकर चुनाव से पहले माहौल खराब करने का प्रयास किया गया है। दो-दो बेरिकेड पार करके यह पूरी टोली हाथों में तिरंगा लेकर जामिया मिल्लिया पहुंच गई, लेकिन पुलिस ने इन्हें कहीं भी नहीं रोका। इससे साबित होता है कि हंगामा पुलिस ने ही कराया है। उधर, सोशल मीडिया पर हाथों में तिरंगा लेकर नारेबाजी करते जामिया मिल्लिया पहुंचे युवाओं की टोली के पुलिस बेरिकेड बड़े आराम से पार करने का विडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया है। छात्रों का आरोप है कि पुलिस ने ही उन्हें आगे जाने का इशारा किया।

हंगामे से लगा भीषण ट्रैफिक जाम
हंगामे के बाद पूरे इलाके में भीषण ट्रैफिक जाम लग गया। ओखला की ओर जाने वाली गाड़ियों को पुलिस ने रास्ते में ही रोक दिया। इससे फ्रेंड्स कॉलोनी की ओर जाने वाले रास्ते पर ट्रैफिक फंस गया। जामिया से कालकाजी की ओर जाने वाले रास्ते पर भी जाम लगा रहा।

नहीं पहुंचे पुलिस के आला अफसर
मतदान की तारीख पास है, लेकिन जामिया मिल्लिया के पास कानून-व्यवस्था को खतरा उत्पन्न होने पर भी पुलिस का कोई बड़ा अधिकारी नहीं पहुंचा। हालात खराब होते देखकर पुलिसकर्मियों ने ही अनुरोध कर सीएए समर्थक युवाओं की टोली को पीछे किया।